Tuesday, 18 August 2020

हम कहें तो किससे कहें, तीरी तिरछी नज़रों का तीखापन। पता भी तो चले , कब शबनम हुआ , कब तीर हुई।।

BY The Golden Note IN , No comments


... आंखों में जो तुमने ज़माने बसा रखे हैं।
चलो छोड़ो ये फसाने ,कितने दीवाने बना रखे हैं।।


#writing #poetry #shayari 
#love #emotions 
#goingthrough #eyes



...love  , support , feedback
@the_golden_note 

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हम कहें तो किससे कहें, तीरी तिरछी नज़रों का तीखापन।
पता भी तो चले , कब शबनम हुआ , कब तीर हुई।।



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